Horrific Attack On Jain Sadhvis in Bharuch – Full Story

भरूच में हुआ जैन साध्वीजी भगवंतों पर हमला!

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By Jain Media 101 Views 11 Min Read
Highlights
  • हुसेन हमीद शेख नामक व्यक्ति ने एक साध्वीजी पर करीब 7-8 बार Belt से वार किया और अन्य दो साध्वीजी पर भी Belt से हमला किया!
  • हमारी पुलिस प्रशासन से और गुजरात सरकार से माँग है कि इस बदमाश व्यक्ति के ख़िलाफ़ कड़ी से कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए!

भरूच में जैन साध्वीजी भगवंतों के साथ आखिर क्या हुआ?

Full Incident

विहार के दौरान जैन साध्वीजी पर एक शख़्स ने हमला किया. इस विषय को लेकर पूरे देश में जैन समाज में भारी आक्रोश है. इस Article के माध्यम से पूरी जानकारी जानेंगे और साथ ही इस विषय की गंभीरता को देखते हुए कुछ Possible Solutions भी जानने का प्रयास करेंगे.

तारीख़ 27th May 2024, Monday के दिन सुबह के समय में पूज्य आचार्य श्री विजय नीतिसूरिजी महाराज साहब के समुदाय के साध्वीजी श्री मंगलवर्धनाश्रीजी महाराज साहेब आदि 6 साध्वीजी भगवंत भरूच से देरोल के लिए विहार कर रहे थे. उन्होंने देखा कि एक व्यक्ति लगातार उनके पीछे आ रहा था. भरूच विहार ग्रुप के कार्यकर्ता विहार में साध्वीजी के साथ थे.

विहार सेवकों ने रुककर कई बार उस शख़्स पर नजर भी रखी, कुछ किलोमीटर पीछे चलकर वह व्यक्ति ग़ायब हो गया. सब देरोल गांव पहुँचने वाले थे, पूरा उजाला हो गया था, गांव की सीमा से कुछ Distance पहले, उपाश्रय वहाँ से जब करीबन एक किलोमीटर की दूरी पर ही था तब पूज्य साध्वीजी भगवंतों ने विहार सेवकों को जाने की अनुमति दे दी.

कुछ ही देर बाद वो शख़्स वापस आया, पीछे जोर-जोर से चिल्लाकर वह साध्वीजी को डराने लगा और थोड़ी देर में वह व्यक्ति साध्वीजी के बहुत पास आ गया. साध्वीजी ने उसे दूर जाने को कहा, लेकिन वह नहीं माना, साध्वीजी ने चिल्लाकर Warning भी दी फिर भी वह छेड़खानी करने लगा. तब बड़े साध्वीजी भगवंत ने सभी साध्वीजी को रुकने का निर्देश दिया. 

इतने में उसने बड़े साध्वीजी को धक्का लगाकर नीचे गिरा दिया. इसके बाद उसने अपना बेल्ट निकाला और हमारे पूज्य साध्वीजी को Belt से मारने लगा. इसका नाम अल्ताफ हुसेन हमीद शेख है, यही वह व्यक्ति है, इस दरिंदे ने एक साध्वीजी पर करीब 7-8 बार Belt से वार किया और अन्य दो साध्वीजी पर भी Belt से हमला किया. 

यह व्यक्ति जैन साधु-साध्वीजी भगवंतों का वैरी है या नहीं, अथवा इसे किसी ने Planning के साथ भेजा है, यह सब Investigation का विषय है, लेकिन यह जानकारी मिली है कि यह बदमाश मारते मारते गाली गलोच कर रहा था और बोल रहा था कि ‘मैं सफ़ेद कपड़ेवालों को यानी कि जैन महात्माओं को देखते ही मारूँगा.’

इस दौरान वहां से 3-4 बाइक सवार गुजरे, लेकिन किसी ने साध्वीजी की सहायता नहीं की. तभी एक ठाकोर जाती का व्यक्ति जो सब्जी लेने भरूच जा रहा था, उसने जैन साध्वीजी को ऐसी हालत में मार खाते हुए देखा तो वह रुका और उस बदमाश का प्रतिकार करने बीच में आया. इस बदमाश ने उस व्यक्ति को भी Belt से पीटा. इतने में वहां लोग इक्कठा होने लग गये तो वो बदमाश भाग निकला.

इन ठाकोर लोगों ने उसकी चारों ओर खोजबीन की और आखिरकार देरोल चौराहे पर वह पकड़ा गया. लोगों ने उसकी पिटायी की, फिर पुलिस को बुलाया गया, पुलिस उसे गिरफ्तार कर भरूच लाइ है. स्थानिक श्रावकों ने क़ानूनी कार्यवाही की ज़िम्मेदारी सँभाली है. कई धाराओं के तहत FIR भी की गई है. पुलिस ने साध्वीजी महाराज के बयान लिए हैं. 

ठाकोर समाज के और अन्य लोगों ने समय पर पहुंच कर अगर सहायता नहीं की होती तो साध्वीजी के साथ बहुत बड़ी अनहोनी घटना घट सकती थी.

कुछ अज्ञानियों का कहना है कि यह व्यक्ति मनोरोगी है अथवा पागल है लेकिन ऐसा बिलकुल भी नहीं है. यह मारपीट उसने जानबूझकर की है. वो बार बार कह रहा था कि सफ़ेद कपड़े वालों को मैं मारूँगा, यानी कि यह सब कुछ पूरी तरह से Planned था. इसके पीछे और भी कई लोग हो सकते हैं. ऐसी भी शक्तियाँ हो सकती है जो जैन साधु साध्वीजी से नफ़रत करती हो और यह भी हो सकता है कि यह अकेला व्यक्ति ना हो क्योंकि इस तरह से Target करके Attack करना कोई एक व्यक्ति का काम नहीं लगता. 

Our Demand From Government

इस बदमाश को पागल मानना हमारी मूर्खता होगी, बहुत बड़ी भूल होगी. इसने पीछा किया, ग़ायब हुआ, जैसे ही विहार सेवक निकले फिर से आया और फिर मारपीट की, लोग इकट्ठा हुए तो फिर से भाग निकला. इतना दिमाग़ एक पागल व्यक्ति का नहीं चल सकता. इस नफ़रत के पीछे कौन कौन है सभी पर कार्रवाई की हम माँग करते हैं.

हमारी पुलिस प्रशासन से और गुजरात सरकार से माँग है कि इस बदमाश व्यक्ति के ख़िलाफ़ कड़ी से कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए. साथ ही इसके साथ और कौन कौन व्यक्ति है, और इसके मन में नफ़रत घोलने वाले कौन है, वह भी जानना हमारे लिए अत्यंत ज़रूरी है. ऐसे सभी लोगों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई कर उन्हें सज़ा दिलवाई जाए.

हमारे पूज्य साधु साध्वीजी भगवंत ब्रह्मचर्य का पालन करते हैं, साध्वीजी भगवंत पुरुष को Touch भी नहीं करते, और इस बदमाश ने उनको हाथ लगाने की हिम्मत की है. अगर सुनसान रोड होता तो साध्वीजी भगवंत के शील (ब्रह्मचर्य) की रक्षा पर प्रश्न आ सकता था. 

विषय की गंभीरता को सभी को समझना होगा.

हमें यह भी जानकारी मिली है कि इस तरह विहार में अनेकों बार छेड़खानी होती रहती है. हमारे साध्वीजी भगवंत चुपचाप सहन कर लेते हैं. लेकिन हम यह सहन नहीं करेंगे. जैन समाज अहिंसक ज़रूर है लेकिन कायर नहीं, पुलिस ने तुरंत गिरफ़्तार किया है, लेकिन हमारी माँग है कि इसके पीछे Depth में Investigation हो और सच सभी के सामने लाया जाए.

Practical Solutions

कुछ संदेश हम जैनों के लिए भी है. Please इसे विवेक के साथ समझने का प्रयास कीजिएगा.

1. सभी विहार सेवकों की अंतर्मन से अनुमोदना कि इतनी गर्मी में भी वे विहार सेवा दे रहे हैं, लेकिन यह घटना एक संकेत है कि साध्वीजी भगवंतों को अकेला कहीं पर भी जाने देना अभी के समय में उचित नहीं है, इसलिए अंत तक साध्वीजी भगवंतों के साथ रहना होगा. सभी युवानों से निवेदन है, अपने अपने क्षेत्र के विहार ग्रुप के साथ Please जुड़ सकते हैं, सच्चे Sense में पूज्य गुरु भगवंतों की रक्षा तो तभी ही होगी.

2. हम नम्रतापूर्वक कहना चाहते हैं कि हमारे स्वार्थ के लिए पूज्य गुरु भगवंतों को इधर उधर विहार करवाना हमें बंद करना होगा. बीते कुछ दिनों में विहार के दौरान कई Accidents भी हुए हैं, अनावश्यक विहार यदि बंद नहीं हुए तो हम ना जाने कितने गुरु भगवंतों को खो देंगे. हमारे अनुष्ठानों के लिए, वाह-वाही बटोरने के लिए पूज्य गुरु भगवंतों को Road मपाना किसी भी तरह से शासन के हित में नहीं हो सकता. 

हम अनुष्ठानों के विरोध में नहीं है, लेकिन अनावश्यक विहार तो बंद हो सकते हैं ना. हम यह नहीं कह रहे हैं कि विहार बंद हो, लेकिन अनावश्यक विहार तो रोक ही सकते हैं ना. कोई बड़ी घटना घटे उससे पहले आवश्यक कदम उठा लेने चाहिए ऐसा लगता है, बाक़ी जो गीतार्थ गुरु भगवंतों को उचित लगे वही सबको मान्य होगा.

3. छोटा मुँह बड़ी बात लगेगी लेकिन आज के भयानक युग में पूज्य साध्वीजी भगवंतों को एक क्षण के लिए भी विहार में अकेला छोड़ना बिलकुल भी उचित नहीं लगता. चारों और शिकार करने के लिए भेड़िये घूम रहे हैं. यदि विहार सेवक कोई कारणवश Available नहीं हो तो तब तक विहार नहीं करना ही ज़्यादा उचित और सुरक्षित होगा ऐसा लगता है. 

4. पूज्य गुरु भगवंतों की सुरक्षा को लेकर, विहार में हो रहे इस तरह के Cases को लेकर, Accidents को लेकर, एक मज़बूत संगठन की आवश्यकता लगती है, जो सिर्फ़ और सिर्फ पूज्य गुरु भगवंतों की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी उठाए. सिर्फ इस कार्य पर Focus करें, सिर्फ इस विषय पर कार्य करें.

साथ ही कम से कम Gap में R&D करके विहारधाम की व्यवस्था पर यदि हम Focus करें तो आनेवाले कल के लिए एक बहुत अच्छा काम हो सकता है. कुछ Groups इस पर Already काम कर ही रहे हैं. 

5. जैन समाज के अग्रणियों से हमारी इस मंच से प्रार्थना है कि इस Case को Logical End तक पहुँचाए, आरोपी को सख्त से सख्त सजा दिलवाये. Matter Court में जाएगा, वक्त लग सकता है लेकिन कृपया इसे बीच में छोड़ना नहीं है. महामंत्री श्री वस्तुपाल की घटना तो सभी को पता ही होगी, बालसाधु को थप्पड़ मारने वाले राजा के रिश्तेदार के हाथ की उंगलिया काट दी गई थी.

6. इस तरह की घटनायें जब बढ़ रही है तो पूज्य गीतार्थ गच्छाधिपति भगवंतों की आज्ञा मिले तो 2 चीज़ें की जा सकती है: 

A. साध्वीजी भगवंतों के लिए Self Defence Course, इस पर Already कई बार कार्य हो चुके है लेकिन Strictly Implement हो तो बहुत अच्छा होगा और 

B. Wheelchair आदि में Panic Button की छोटी सी Device Attach की जाए तो Safety Security की व्यवस्था अच्छे से हो सकती है ऐसे सुझाव भी कई लोगों के आए हैं लेकिन यह विषय गीतार्थ गुरु भगवंतों का है.

ऐसे कुछ Practical Solutions गीतार्थ गुरु भगवंतों के सामने रख सकते हैं, आख़िरी निर्णय उन पर छोड़ देना चाहिए. 

7. अगर हमारी विहार सेवा में जाने की अनुकूलता ना हो तो क्या कर सकते हैं? हम कम से कम रोज़ Daily के Routine के तौर पर पूज्य गुरु भगवंतों की सुरक्षा के लिए, उनकी Safety के लिए प्रार्थना तो कर ही सकते हैं.

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